संतान सुख प्राप्ति में बाधक योग ( Problem in Pregnancy )
विवाह के पश्चात् माँ बनना हर एक नारी का स्वप्न होता हैं तथा संतान
सुख ही वह सुख हैं जो माता – पिता के जीवन को सम्पूर्ण कर देता हैं. अधिकांश
महिलाओं को विवाह के पश्चात् यह सुख प्राप्त हो जाता हैं. लेकिन कुछ महिलाऐं ऐसी
भी होती हैं. जिन्हें संतान सुख प्राप्त नहीं होता तथा उनकी माँ शब्द सुनने की
आकांशा अधूरी रह जाती हैं. यदि महिला और पुरुष दोनों शारीरिक रूप से स्वस्थ
हो और फिर भी उन्हें यह सुख प्राप्त न हो रहा हो तो यह हो सकता हैं कि पति
या पत्नी में से किसी एक की कुंडली में ग्रहों की प्रतिकूल दशा चल रही हो. यदि
महिला का पति स्वास्थ्य की दृष्टि से स्वस्थ हैं और उसकी कुंडली में भी
ग्रहों से जुड़ा हुआ कोई दोष नहीं हैं. तो ऐसा हो सकता हैं कि महिला की
कुंडली में कोई न कोई दोष हो. जिसके कारण वह संतान सुख से वंचित हैं. अगर आप
भी माँ नहीं बन पा रहीं हैं और इसीलिए हमेशा परेशान रहती हैं तो नीचे कुछ ग्रहों
और भाव के बारे में बताया गया हैं. जिनके योग कुंडली में बनने पर संतान उत्पति
में रुकावटें उत्पन्न होती हैं. CLICK HERE TO READ MORE ABOUT गृहस्थ सुख प्राप्ति की रतिपति गंधर्व साधना ...
Santan Sukh Mein Rukavat Utpann Karne Vale Yog |
1.पंचम भाव का स्वामी (The Owner of the Fifth House) – यदि किसी महिला की कुंडली
में पंचम भाव का स्वामी सप्तमेश सभी क्रूर ग्रहों के साथ उसकी कुंडली में
विराजमान हैं तो वह स्त्री माँ नहीं बन सकती. उसकी माँ बनने की इच्छा अधूरी रह
जाती हैं.
2.बुध ग्रह से पीड़ित पंचम भाव (Fifth House Suffered
From Mercury Planet) – यदि किसी स्त्री की कुंडली का पंचम भाव बुध ग्रह के
कुप्रभाव से पीड़ित हो या कुंडली के सप्तम भाव में शत्रु राशी हो तथा इसी
भाव में निम्न बुध हो तो स्त्री द्वारा संतान उत्पन्न करने में बाधा आती हैं. CLICK HERE TO READ MORE ABOUT बच्चे के जन्म का ठीक समय ...
संतान सुख में रूकावट उत्पन्न करने वाले भाव |
3.राहु और शनि ग्रह (Rahu and Saturn Planet) – यदि किसी की कुंडली के पंचम
भाव में राहु ग्रह स्थित हो तथा शनि ग्रह की बुरी दृष्टि इस भाव पर हो तो
भी संतान उत्पप्ति में रुकावटें आती हैं.
Santan Prapti Sukh |
4.सप्तम भाव (Seventh House) – अगर सप्तम भाव पर केतु
और मंगल ग्रह की दृष्टि हो तो भी महिला संतान को जन्म देने में असमर्थ होती
हैं.
5.शुक्र ग्रह (Venus) - यदि शुक्र ग्रह अष्टमेश
में स्थित हो. तो भी यह सुख प्राप्त नहीं होता.
6.सूर्य और शनि ग्रह (Sun And Saturn) – स्त्री की कुंडली में
सूर्य और शनि ग्रह नीच के हो तो भी सन्तान सुख से स्त्री वंचित रहती हैं.
Santan Sukh Mein Badha Daalne Vale Yog |
पंचम भाव संतान सुख प्राप्ति का भाव होता हैं. जिसे पुत्र
भाव के नाम से भी जाना जाता हैं. यदि किसी स्त्री की कुंडली में इनमें से कोई
योग बन रहा हो तो इनके निदान हेतु ज्योतिषीय उपाय जरूर करें.
संतान सुख प्राप्ति में बाधक योग तथा संतान प्राप्ति के
उपायों के बारे में जानने के लिए आप नीचें कमेंट करके तुरंत जानकारी हासिल कर सकते
हैं.
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sab ok hone ke baad bhi hamari koi santan nahin hai plz mujhe koi upay batani ki krapa karen. thanks
ReplyDeletesab ok hone ke baad bhi hamari koi santan nahin hai plz mujhe koi upay batani ki krapa karen. thanks
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