साइटिका का दर्द होने पर क्या करें
साइटिका का दर्द अनियमित ढंग से उठने – बैठने के कारण हो जाता हैं. साइटिका का
दर्द एक ऐसा दर्द हैं जिसका प्रभाव हमारी कमर से लेकर पैरों तक होता हैं. साइटिका
का दर्द होने पर किसी काम को कर पाना बहुत ही मुश्किल हो जाता हैं.
साइटिका के दर्द के होने के कारण
शरीर में साइटिका के दर्द के होने का कारण अधिक देर तक एक ही अवस्था में बैठ
कर काम करना हैं. यह दर्द अधिकतर उन लोगों को होता हैं. जो घण्टों टेबल या
कम्प्यूटर पर बिना रुके काम करते रहते हैं. घण्टों तक बैठने से उन लोगों की नसों
में तनाव आ जाता हैं और उन्हें साइटिका का दर्द परेशान करने लगता हैं.
साइटिका के दर्द के लक्षण
अगर हम साइटिका के दर्द के लक्षणों की बात करें तो हम यह कह सकते हैं की
साइटिका बीमारी नहीं बल्कि बिमारियों के लक्षणों से परिपूर्ण हैं. साइटिका के दर्द
के प्रमुख लक्षण पीठ और पेट में दर्द होना हैं. साइटिका के दर्द में कमर से पीठ तक
की नसों में खिंचाव आ जाता हैं. नसों में दर्द होने लगता हैं. कमर अकड़ जाती हैं.
साइटिका के दर्द से अगर कमर से लेकर पैर तक की नसों के फाइबर प्रभावित हो जाए, तो
पैर की उंगलियों को हिलाना भी मुश्किल हो जाता हैं. इस रोग के गम्भीर रूप धारण
करने पर इस रोग से पीड़ित व्यक्ति का खड़े रहना और चलना कठिन हो जाता हैं. CLICK HERE TO READ MORE SIMILAR POSTS ...
Sciatica Ayurvedic Treatment |
साइटिका के दर्द को ठीक करने के लिए उपचार
साइटिका के दर्द से राहत पाने के लिए आप व्यायाम भी कर सकते हैं. व्यायाम के
आलावा आप साइटिका के दर्द को दूर करने के लिए कुछ घरेलू उपचारों की भी सहायता ले
सकते हैं. जो की निम्नलिखित हैं –
1. साइटिका के दर्द से निजात
पाने के लिए आप निर्गुण्डी के पत्तों से बने क्वाथ का भी प्रयोग कर सकते हैं.
साइटिका के दर्द से राहत पाने के लिए रोजाना निर्गुण्डी के पत्तों से बने 15 ग्राम
क्वाथ का सेवन करें. आपको साइटिका के दर्द से राहत मिलेगी.
2. साइटिका के दर्द से राहत
पाने के लिए आप तेल, घी, अदरक का रस और निम्बू के रस का प्रयोग करके एक मिश्रण
तैयार कर सकते हैं. जिसके सेवन करने से आपको साइटिका के दर्द से आराम मिलेगा. इस
मिश्रण को बनाने के लिए. 5 मि.ली. अदरक का रस लें. 5 मि.ली. घी लें. 7 मि.ली.
निम्बू का रस लें तथा 5 मी.ली. तेल लें. अब इन सब को मिला लें. अब इस मिश्रण में 6
ग्राम गुड़ डालकर अच्छी तरह मिलाकर पी लें. इस मिश्रण का सेवन दिन में दो बार करने
से साइटिका के दर्द से हमेशा के लिए मुक्ति भी पाई जा सकती हैं. साइटिका के दर्द
से हमेशा के लिए मुक्ति पाने के लिए इस मिश्रण का प्रयोग दिन में दो बार करें. CLICK HERE TO READ MORE SIMILAR POSTS ...
Katisnayushool ke Dard ka Deshi Ilaaj |
3. साइटिका का दर्द होने पर
अडूसा, चिरायता तथा दंती का क्वाथ का सेवन भी किया जा सकता हैं. क्वाथ को बनाने के
लिए अडूसा, चिरायता और दंती की एक समान मात्रा लेकर इन तीनों को मिलकर क्वाथ बना
लें. अब इन तीनों से बने क्वाथ का सेवन करें. साइटिका का दर्द खत्म हो जाता हैं.
4. साइटिका के दर्द को ठीक
करने के लिए छिलके रहित अरंड तथा दूध का प्रयोग करना बहुत ही उपयोगी होता हैं.
इसके लिए 15 से 20 ग्राम छिलके रहित अरंड के बीज लें. अब एक बर्तन में 200 ग्राम
दूध डालकर उबाल लें. और उसमे अरंड के बीजों को डाल दें. अब अरंड के बीजों को दूध
में अच्छी तरह पका लें. जब अरंड के बीज अच्छी तरह से पक जाये तो दूध को उतारकर
थोडा ठंडा कर के पी जाये. पके हुए अरंड के बीजों का दूध पीने से जल्द ही साइटिका
के दर्द से आराम मिल जायेगा.
साइटिका के दर्द से राहत
पाने के लिए आप दूध और लहसुन के कल्क का
प्रयोग कर सकते हैं.. इसके लिए लहसुन का कल्क 40 ग्राम लें. 300 मि.ली. पानी लें.
अब दूध 40 मी.ली. लें और उसमे इन दोनों को मिलाकर खूब अच्छी तरह से पका लें. दूध
को तब तक पकाए, जब तक की उसमे केवल दूध ही शेष रह जाये. जब बर्तन में केवल दूध ही
शेष रह जाये तो उसे उतार कर छान लें. अब इस दूध का सेवन करें. साइटिका के दर्द से
मुक्ति मिलेगी.
कटीस्नायुशूल के दर्द का देशी इलाज |
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